महीने बीत जाने के बाद भी नही मिला आरटीआई का जाबाब लापरवाह अधिकारी।

रिपोर्ट न्यूज़ डेस्क

आपको बताते हुए चले कि महराजगंज जिले के निचलौल से एक मामला आरटीआई सम्बंधित उजागर हुआ है जहाँ निचलौल नगर के भाजपा नेता अनुराग द्विवेदी ने बिजली विभाग से जुड़ी आरटीआई से कुछ सूचनाएं मांगी थी जो जनहित सूचना है लेकिन विभाग इतना लापरवाह है कि आज तक उसका जाबाब नही दिया लगता है कि अगर उसका जबाब बिजली विभाग अगर दे दे तो कितने अधिकारी और कर्मचारियों की नौकरी खतरे में चली जायेगी लेकिन अधिकारी आरटीआई एक्ट के उल्लंघन करने में लगे हैं आज तक क्यो आवेदक को जाबाब नही दिया गया क्या कारण है इसका मतलब यह है कि बिजली विभाग के फाइलों में दाल में कुछ काला है आइए बताते हैं आरटीआई के आवेदन कैसे किया जाता है क्या है प्रक्रिया यह भी जान ले कैसे ले आरटीआई के जबाब

ये है आवेदन की प्रक्रिया

आरटीआईके तहत कोई भी व्यक्ति जिस कार्यालय से सूचना चाहता है। उस कार्यालय के लोक सूचना अधिकारी को संबोधित करते हुए साधारण प्रार्थना पत्र लिखकर चाही गई सूचना का स्पष्ट विवरण लिखें। प्रार्थना पत्र में आवेदक का नाम, हस्ताक्षर, आवेदन शुल्क का विवरण एवं दिनांक का अंकित किया जाना आवश्यक है। प्रार्थना पत्र रजिस्टर्ड डाक से या व्यक्तिगत उपस्थित होकर भी दे सकते हैं।

एक आवेदक कितनी भी बार सूचना प्राप्त कर सकता है। सूचना मांगे जाने पर किसी प्रकार की कोई पाबंदी नहीं है।

आवेदन के 30 दिन तक सूचना नहीं जाती है तो प्रथम अपील की जा सकती है। इसके बाद भी सूचना नहीं दी जाती तो द्वितीय अपील की जा सकती है।

बीपीएल वर्ग के लोगों को निशुल्क सूचना दिए जाने का प्रावधान है। इस वर्ग के लोगों को आवेदन शुल्क भी नहीं देना पड़ता है।

नियम है कि लोक सूचना अधिकारी द्वारा सूचना देने में देरी करने पर आवेदक को चाही गई सूचना निशुल्क दी जाएगी।

सूचना उपलब्ध कराने के लिए 2 रुपए प्रति पेज शुल्क देना होता है। इससे ज्यादा शुल्क नहीं वसूल सकते हैं।

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